अब किस को जा कर ख़बर लिखाएँ

15-02-2025

अब किस को जा कर ख़बर लिखाएँ

हेमन्त कुमार शर्मा (अंक: 271, फरवरी द्वितीय, 2025 में प्रकाशित)

 

अब किस को जा कर ख़बर लिखाएँ, 
बरसों में सदियों का सबर दिखाएँ। 
 
देखो तो बाहर अन्दर एक ही तो है, 
अब किस किस को ज़हर दिखाएँ। 
 
गाँव का मरना बहुत शोचनीय, 
बचा शहर चलो शहर दिखाएँ। 
 
अँधेरे से मित्रता कर ले अब तो, 
फिर से कोई यहाँ पर सहर दिखाए। 
 
मानो तो वह शर्तिया कोई नेता होगा, 
गहरे अँधियारे को दोपहर दिखाए। 

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