विज्ञानकु: फ्रांसिस क्रिक

01-08-2021

विज्ञानकु: फ्रांसिस क्रिक

सुभाष चन्द्र लखेड़ा (अंक: 186, अगस्त प्रथम, 2021 में प्रकाशित)

डरें उससे
सिर्फ़ एक विचार
पास जिसके।
 
कैसे बताऊँ
ख़ुद को सुने बिना
अपनी राय।
 
मुझे है बोध
सर्वाधिक ज़रूरी
दिमाग़ी शोध।
 
परम सुख
अन्वेषण दिलाए
यदि हो पाए।
 
करें मनन
फ्रांसिस क्रिक के हैं
चारों कथन।

0 टिप्पणियाँ

कृपया टिप्पणी दें

लेखक की अन्य कृतियाँ

कविता - हाइकु
स्मृति लेख
लघुकथा
चिन्तन
आप-बीती
सांस्कृतिक कथा
हास्य-व्यंग्य आलेख-कहानी
व्यक्ति चित्र
कविता-मुक्तक
साहित्यिक आलेख
विडियो
ऑडियो

विशेषांक में