अधिकार
डॉ. आरती स्मितखोल दो खिड़कियाँ
और रोशनदान सब
रोशनी की हर किरण पर
तुम्हारा भी अधिकार है।
1 टिप्पणियाँ
-
बहुत खूब
कृपया टिप्पणी दें
लेखक की अन्य कृतियाँ
- कहानी
- पत्र
- कविता
-
- अधिकार
- अनाथ पत्ता
- एक दीया उनके नाम
- ओ पिता!
- कामकाजी माँ
- गुड़िया
- घर
- ज़ख़्मी कविता!
- पिता पर डॉ. आरती स्मित की कविताएँ
- पिता होना
- बन गई चमकीला तारा
- माँ का औरत होना
- माँ की अलमारी
- माँ की याद
- माँ जानती है सबकुछ
- माँ
- मुझमें है माँ
- याद आ रही माँ
- ये कैसा बचपन
- लौट आओ बापू!
- वह (डॉ. आरती स्मित)
- वह और मैं
- सर्वश्रेष्ठ रचना
- ख़ामोशी की चहारदीवारी
- ऐतिहासिक
- स्मृति लेख
- साहित्यिक आलेख
- बाल साहित्य कहानी
- किशोर साहित्य नाटक
- सामाजिक आलेख
- गीत-नवगीत
- पुस्तक समीक्षा
- अनूदित कविता
- शोध निबन्ध
- लघुकथा
- यात्रा-संस्मरण
- विडियो
- ऑडियो
-