देखो! ऐसा है हमारा बिहार 

01-04-2025

देखो! ऐसा है हमारा बिहार 

आलोक कौशिक (अंक: 274, अप्रैल प्रथम, 2025 में प्रकाशित)

 

सकारात्मक सोच यहाँ की 
हृदय में करुणा और प्यार 
संघर्ष का साहस यहाँ पर 
कभी ना होती हौसलों की हार 
देखो! ऐसा है हमारा बिहार 
 
नयनाभिराम नदियाँ देखो 
फ़सलों से खेतों का शृंगार 
ग्रीष्म, शरद, वसंत आते 
वर्षा भी होती है मूसलाधार 
देखो! ऐसा है हमारा बिहार 
 
परम ज्ञान की प्राप्ति होती 
बहती यहाँ बुद्धि की बयार 
प्रेम हो तो पर्वत कट जाता 
सीखा है यहीं से सारा संसार 
देखो! ऐसा है हमारा बिहार 
 
सारे रंगों का सम्मिलन यहाँ 
भाईचारे का सुन्दर आकार 
लाजवाब लोकगीत यहाँ के 
विश्वप्रसिद्ध यहाँ के त्योहार 
देखो! ऐसा है हमारा बिहार 
 
दुश्मनों से डरते नहीं हैं 
करते नहीं पीछे से प्रहार 
यहीं से यह भी तय होता है 
देश में हो किसकी सरकार 
देखो! ऐसा है हमारा बिहार

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