सविता अग्रवाल ’सवि’ - हाइकु - 001
सविता अग्रवाल ‘सवि’1.
आतुर पक्षी
हवा सूँघते सारे
चोंच निकाले
2.
लाली शाखा की
दे रही है संदेसा
नई ऋतु का
3.
शब्द सौंदर्य
सरसता बेजोड़
अनूठा शोध
4.
हिन्दी का लेख
लेखन शिखर का
करे झंकृत
1.
आतुर पक्षी
हवा सूँघते सारे
चोंच निकाले
2.
लाली शाखा की
दे रही है संदेसा
नई ऋतु का
3.
शब्द सौंदर्य
सरसता बेजोड़
अनूठा शोध
4.
हिन्दी का लेख
लेखन शिखर का
करे झंकृत