राजीव कुमार – 002

01-10-2021

राजीव कुमार – 002

राजीव कुमार (अंक: 190, अक्टूबर प्रथम, 2021 में प्रकाशित)

1. 
वो दखो झुका
सातवाँ आसमान
देख उड़ान
2. 
दाता के नाम
पे बँटे सम्प्रदाय
दाता तो एक
3. 
हक़ न सही
अनुनय-विनय
आधार मान
4. 
तुमको देखा
कोई बात पुरानी
नई हो गई
5. 
फड़की भुजाएँ
रणभूमि में हुआ
शत्रु विनाश
6. 
फ़ासला कहे
सिमट जा, शिकवा
दूरी बढ़ा
7. 
महासंग्राम
अर्श तक न पाए
पूर्णविराम
8. 
भवसागर
तरने वाले बोले
पार था जाना
9. 
भारत भूमि
गौरवशाली देश
पूरे विदेश
10. 
डाल-डाल पे
कूकी कोयल, छाई
दिल-दिल पे
11. 
दिल में फूल
नज़र में काँटे
प्रेम ने बाँटे

0 टिप्पणियाँ

कृपया टिप्पणी दें

लेखक की अन्य कृतियाँ

कविता - हाइकु
कविता-ताँका
लघुकथा
सांस्कृतिक कथा
कविता
विडियो
ऑडियो

विशेषांक में